
मुंगेली खबरदार न्यूज़ खास खबर ✍🏻छत्तीसगढ़ में मुंगेली की जीवनदायनी कही जाने वाली आगर नदी इस समय अपनी बदहाली पर आंसू बहा रही है. आपको बता दें कि मुंगेली नगर को तीन ओर से घेरे हुए आगर नदी अब धीरे-धीरे कुड़े का ढेर बनती जा रही है. इतना ही नहीं नालो से जो गंदगी निकलती है, वह सब भी इस नदी में जाकर मिल जाती है.आगर नदी में बढ़ती गंदगी को लेकर प्रशासन की तरफ से कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है
ऐसा माना जाता है कि शहर के जलस्तर को बनाए रखने में आगर नदी बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है, लेकिन अब हाल ये हो गया है कि आगर नदी में आज एक इंच भी पानी नहीं है. लोगों का कहना है कि खर्रा घाट में एनीकट का जो निर्माण किया गया है, उसकी ऊंचाई बहुत कम है. उनका कहना है कि एनिकेट की ऊंचाई न होने के कारण पानी का यहां ठहराव नहीं हो पाता है.लोगों का कहना है कि आगर नदी में पूरी तरह से नाले का पानी आता है, जिसमें डिस्पोजल, ग्लास, प्लास्टिक फेंके जाते हैं. यानी आगर नदी पूरी तरह एक कचरे के ढेर में तब्दील हो चुकी है, जिसे देखने और सुनने वाला तक कोई नहीं है.
इस पर स्थानीय नागरिक संजय सिंह ठाकुर साधु का कहना है कि सरकार स्वच्छता की बात करती है, लेकिन मुंगेली नदी के बीचोंबीच जो नदी निकली है, उसे अगर देखा जाए तो सरकार के सारे दावे खोखले साबित होते नजर आते हैं.